Home Business कंज्यूमर्स को पहले की तरह भारी डिस्काउंट मिलता रहेगा-ऐमजॉन

कंज्यूमर्स को पहले की तरह भारी डिस्काउंट मिलता रहेगा-ऐमजॉन

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तीनों एंटिटी के साथ काम करने वाले कई ब्रैंड्स और सप्लायर्स ने बताया कि ऐमजॉन के कैटिगरी मैनेजर ने पहले ही हरेक कैटिगरी के लिए प्रेफर्ड सेलर्स के पहचान की प्रक्रिया शुरू कर दी है। ये सेलर्स क्लाउडटेल और एपैरियो से प्रॉडक्ट्स खरीदेंगे।
1 फरवरी से बदला नियम
ऐमजॉन इंडिया की वेबसाइट से क्लाउडटेल और एपैरियो को 1 फरवरी से बाद से ही हटा लिया गया है, क्योंकि नई ई-कॉमर्स पॉलिसी के तहत ग्रुप कंपनियों को मार्केटप्लेस के जरिए बिक्री से प्रतिबंधित कर दिया गया है। अब ये दोनों एंटिटी देश में ऐमजॉन के बी2बी मार्केटप्लेस- ऐमजॉन बिजनस के जरिए अपने प्रॉडक्ट को बेच रही हैं।

ऐपल, एलजी, सोनी, बॉश, पैनासोनिक, बीपीएल, टीसीएल, आईएफबी, वीयू, एफएमसीजी जैसे बड़ी इलेक्ट्रॉनिक कंपनियों के प्रॉडक्ट्स, ऐमजॉन के खुद के प्रॉडक्ट और सिंबल, ऐमजॉन बेसिक्स और सोलिमो जैसे प्राइवेट लेबल्स के प्रॉडक्ट्स ऐमजॉन इंडिया के मार्केटप्लेस से हट गए हैं, क्योंकि इन्हें क्लाउडटेल और एपैरियो के जरिए बेचा जा रहा था।

यहां तक कि ऐमजॉन के ईको जैसे प्रॉडक्ट्स को भी अब एपैरियो रिटेल की जगह नए सेलर्स के जरिए बेचा जा रहा है। हालांकि, क्लाउडटेल अभी भी ऐमजॉन एक्सक्लूसिव समेत ज्यादातर इलेक्ट्रॉनिक्स आइटम्स को बी2बी मार्केटप्लेस के जरिए बेच रही है।

एक एग्जिक्यूटिव ने बताया, ‘इसका मतलब यह है कि क्लाउडटेल और एपैरियो परोक्ष रूप से कीमतों को कंट्रोल करेंगी और कंज्यूमर्स को पहले की तरह भारी डिस्काउंट मिलता रहेगा।’ हालांकि एक अन्य एग्जिक्यूटिव ने बताया कि ऐमजॉन ने अभी तक क्लाउडटेल और एपैरियो में हिस्सेदारी बेचने की योजना को पूरी तरह से खारिज नहीं किया है। अगर ऐसा हुआ तो दोनों एंटिटी संशोधित नियमों के दायरे में आ जाएंगी और पहले की तरह ही बिक्री जारी रख सकेंगी। एग्जिक्यूटिव ने कहा, ‘लीगल टीम इसका स्ट्रक्चर तय कर रही है, जिससे कंपनी के इंडिया बिजनस को नई पॉलिसी के मुताबिक ढाला जा सके। हालांकि हिस्सेदारी बेचना पीछे जाने जैसा होगा, क्योंकि होलसेल रूट पर तेजी से अमल किया जा सकता है।’

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