Home National दिल्ली : एक गौशाला में दो दिन में 36 गायों की मौत

दिल्ली : एक गौशाला में दो दिन में 36 गायों की मौत

स्थानीय लोगों का आरोप है कि इस गौशाला में गायों के खानपान, रखरखाव और स्वास्थ्य का ख्याल नहीं रखा जाता है जिसके चलते ये मौतें हुई हैं

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प्रतीकात्मक तस्वीर

देश में जहां एक तरफ गौरक्षा के नाम पर आए दिन लोगों को मौत के घाट उतारा जा रहा है वहीं गौशालाओं में उचित व्यवस्थाओं के अभाव में गायें दम तोड़ रही हैं. ताजा मामला दिल्ली का है जहां द्वारका क्षेत्र में एक ट्रस्ट द्वारा चलाई जा रही गौशाला में पिछले दो दिन में छत्तीस गायें मृत मिली हैं. ख़बरों के मुताबिक इन गायों की मौत किसी बीमारी की वजह से हुई है. स्थानीय लोगों का आरोप है कि इस गौशाला में गायों के खानपान, रखरखाव और स्वास्थ्य का ख्याल नहीं रखा जाता है जिसकी वजह से ये मौतें हुई हैं. उचित व्यवस्थाओं के अभाव में गौशाला की बाकी करीब दो हजार गायों में भी संक्रमण फैलने की आशंका है.

गौशाला में काम करने वाले कर्मचारियों ने मीडिया से कहा है कि उन्होंने गायों को बचाने की पूरी कोशिश की लेकिन किसी ने उनकी नहीं सुनी. उनका यह भी कहना है कि यदि से गौशाला प्रंबधक समय पर किसी चिकित्सक का इंतेजाम करवा देते तो शायद इन गायों को मौत के मुंह में जाने से बचाया जा सकता था. फिलहाल चिकित्सकों का एक दल गौशाला पहुंच चुका है. सरकार ने इस मामले में जांच के आदेश दे दिए हैं.

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गौशालाओं में गायों के मरने की यह पहली घटना नहीं है. पिछले साल अगस्त में छत्तीसगढ़ में एक भाजपा नेता द्वारा संचालित एक गौशाला में भूख की वजह से 200 गायों की मौत हो गई थी. इससे एक साल पहले यानी अगस्त-2016 में राजस्थान की राजधानी जयपुर की हिंगोनिया गोशाला से हजारों गायों के मरने की खबर आई. वहां हालात इतने बुरे थे कि चारे-पानी और इलाज के अभाव में एक-एक दिन में सौ-सौ गायों ने दम तोड़ा था. हिंगोनिया की तरह प्रदेश के ही उदयुपर जिले की सरकारी गोशाला में भी प्रशासन की अनदेखी के चलते सैंकड़ों गायों की भी मौत हो गई थी. इसके बाद पिछले साल आई भीषण बरसात के बाद उचित तीमरदारी के अभाव में राजस्थान के एक अन्य जिले जालोर में स्थित देश की सबसे बड़ी गोशाला मानी जाने वाली पथमेड़ा और उससे संबंध शाखाओं में सैंकड़ों गायों ने दम तोड़ दिया था.

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