पेपरलीक मामले और करप्शन को लेकर सचिन पायलट की जनसंघर्ष यात्रा लगातार जारी है.वही अब कर्नाटक की जीत के बाद कांग्रेस का राजस्थान में फोकस रहने वाला है .जहां पूर्व डिप्टी सीएम लगातार यात्रा के साथ-साथ मीडिया में अपनी तल्खी भी गहलोत और उनके समर्थकों पर बरस रहे है .उनकी जनसंघर्ष यात्रा जयपुर के नजदीक आ चुकी है और 15 मई को उनकी यात्रा जयपुर में ही आकर खत्म होगी.
पायलट पर रंधावा हुए नरम
पायलट पर अब प्रभारी सुखजिंदर सिंह रंधावा के तेवर अब नरम हो गए है.उन्होंने पायलट को छोटा भी कह दिया है और कहा कि उन्होंने उनके मेरे से पारिवारिक रिश्ते है .लेकिन उनकी टाइमिंग गलत है .उनको थोड़ा इंतजार करना चाहिए.आपको बता दे पहले सुखजिंदर सिंह रंधावा पूर्व डिप्टी सीएम के खिलाफ कड़े रुख दिखा चुके है .और उन्होने कहा था कि उनकी यात्रा पर पूरी नजर रखी जा रही है .
पायलट को किसने उकसाया-रंधावा
सुखजिंदर सिंह रंधावा ने पायलट पर बड़ा बयान देते हुए कहा कि वे थोड़े से एग्रेसिव है .उनको एबिंशियस होना चाहिए,लेकिन ओवरएंबिशियस नहीं होना चाहे.साथ ही रंधावा ने कहा कि उनको उकसाया जा रहा है .लेकिन ये भी देखने वाली है किसने उकसाया है.साथ ही रंधावा ने कहा कि मेरे प्रभारी बनने से पहले की बातों को मैं नहीं उठाऊंगा. रंधावा चुनावी फेस को लेकर कहा कि राजस्थान, मध्य प्रदेश और छत्तीसगढ़ में एक होकर चुनाव लड़ेंगे।
पूर्व डिप्टी सीएम की यात्रा का मकसद
असल में सचिन पायलट ये यात्रा भ्रष्टाचार और पेपर लीक के मामले निकालने की बात कर रहे है.लेकिन सही बात ये निकल के आ रही है कि अब वो गहलोत के खिलाफ मुखर हो गए है . और ये यात्रा सीधे तौर पर सरकार के विरोध में और गहलोत के विरोध में साथ ही एक शक्ति प्रदर्शन के तौर पर निकाल रहे है .साथ ही उन्होने वसुंधरा राजे पर भी उन्होंने गंभीर आरोप लगाए थे.जिसका खंडन गहलोत और वसुंधरा राजे कर चुके है .